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लखनऊ नगर निगम में सदन की बैठक 30 अगस्त को होगी। मेयर सुषमा खर्कवाल ने नगर आयुक्त से पत्र लिख सदन की बैठक बुलाने को कहा है।

30 अगस्त को लखनऊ नगर निगम का सदन आयोजित किया जाना है। - Dainik Bhaskar
30 अगस्त को लखनऊ नगर निगम का सदन आयोजित किया जाना है।

लखनऊ नगर निगम में सदन की बैठक 30 अगस्त को होगी। मेयर सुषमा खर्कवाल ने नगर आयुक्त से पत्र लिख सदन की बैठक बुलाने को कहा है। साल 2024-25 में यह पहला आम सदन होने जा रहा है। इससे पहले बजट और अन्य मुद्दे को लेकर सदन की बैठक हुई थी, लेकिन पहली बार आम मुद्दों पर सदन की बैठक होने जा रही है।

ऐसे में इस बार का सदन काफी हंगामेदार होने वाला है। पक्ष और विपक्ष दोनों दलों के पार्षद नगर निगम प्रशासन पर हमलावर रहेंगे। पार्षद अक्सर इस बात का आरोप लगाते हैं, कि अधिकारी उनकी सुनवाई नहीं कर रहे है। विभाग में भ्रष्टाचार बढ़ता जा रहा है। इसमें सबसे ज्यादा नाराजगी खुद बीजेपी के पार्षदों की है।

यह भी आरोप है कि मेयर का कोटा महज कुछ वार्डों को मिला है। साथ ही पूरे शहर में दूषित पानी की सप्लाई का मुद्दा इस बार सबसे ज्यादा चर्चा का विषय रहने वाला है। जलभराव और खराब सड़कों को लेकर भी हंगामा होने के आसार हैं।

लखनऊ नगर निगम क्षेत्र में खराब सड़कें बनेंगी मुद्दा।
लखनऊ नगर निगम क्षेत्र में खराब सड़कें बनेंगी मुद्दा।

सफाई से लेकर कूड़ा कलेक्शन पर उठेगा सवाल

शहर में मौजूदा समय सफाई की व्यवस्था खराब हो गई है। जोन 2, 5 और 8 में सफाई के साथ डोर-टू-डोर कूड़ा कलेक्शन का काम जिस संस्था को दिया गया है, वह विवादों में रही है। उसके खिलाफ लिखित शिकायत भी हुई है। ऐसे में शहर के 34 वार्ड के पार्षद हंगामा करेंगे। इससे पहले नगर निगम के वाट्सएप ग्रुपों पर अधिकारियों पर कमेंट करते रहते हैं।

खराब सड़कें और जलभराव रहेगा मुद्दा

शहर की खराब सड़क और जलभराव की समस्या भी इस बाद सदन में बहस का मुद्दा रहेगा। 110 में कोई ऐसा वार्ड नहीं होगा जहां की सड़क खराब न हुई हो। आए दिन उन सड़कों पर गिरकर लोग घायल होते हैं।

इस साल औसत से कम बारिश हुई है, इसके बाद भी महज 30 मिनट की बारिश में शहर में जलभराव हो जाता है। यहां तक की नगर निगम के मुख्यालय में भी पानी भर जाता है। विकास नगर, महानगर, गोमती नगर समेत कई इलाकों में सबसे ज्यादा परेशानी रही है। पार्षद इन मुद्दों को लेकर भी हंगामा करेंगे।

स्ट्रीट लाइट की व्यवस्था हुई गड़बड़

शहर में हर समय करीब 10 से 20 हजार स्ट्रीट लाइट खराब रहती हैं। जिस कंपनी को मरम्मत का काम करना था, वह ठीक नहीं करा रही है। नगर निगम के कर्मचारी ही वह काम कर रहे है। महीनों शिकायत के बाद भी लाइट ठीक नहीं हो रही है। मौजूदा समय में शहर का शायद ही कोई ऐसा वार्ड होगा, जहां 100 से ज्यादा स्ट्रीट लाइट खराब न हुई हो।

लखनऊ में एंटी थेप्ट स्ट्रीट एलईडी लाइटें लगेंगी:टच करते ही बजेगा सायरन, चोरों से बचाने की नगर निगम की तैयारी

लखनऊ में अब स्ट्रीट लाइट चोरी नहीं होंगी। 15 सितंबर से शहर में एंटी थेप्ट स्ट्रीट एलईडी लाइट लगनी शुरू होंगी। नगर निगम ने इसको लेकर टेंडर प्रक्रिया तेज कर दी है। पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर इसको 10 हजार जगहों पर इन लाइटों को लगाया जाएगा। फिर पूरे शहर में इन्हीं लाइटों का उपयोग किया जाएगा।

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