लखनऊ में विधायक निवास (OCR बिल्डिंग) में मंगलवार को मिले युवक के शव की गुत्थी नहीं सुलझ पा रही है। पुलिस ने देर रात पोस्टमार्टम करा दिया। अभी रिपोर्ट नहीं आ सकी है।
मृत युवक के पिता राजाराम का कहना है कि परिवार में लड़ाई हुई थी। लेकिन मेरा बेटा जान नहीं दे सकता। वहीं युवक विधायक आवास में कैसे पहुंचा। उसके शरीर पर 12 जगह चोट के निशान कैसे आए। साथ ही पुलिस CCTV फुटेज जारी क्यों नहीं कर रही है। ये तीन बड़े सवाल भी हैं।
पुलिस की अब तक की जांच में सामने आया कि युवक की घटना से पहले परिजनों से विवाद के बाद मारपीट हुई थी। लेकिन विधायक आवास के भीतर से लाश मिलना हर किसी को हैरान कर रहा है।
दो दिन परिवार में विवाद चल रहा था
लालकुआं सबदल बगिया निवासी राजाराम दूध का काम करते हैं। उन्होंने बताया कि उनका छोटा बेटा हिमांशु सिंह सोमवार रात करीब 11 बजे घर से निकला और लौट के नहीं आया। उसकी तबीयत पिछले कुछ समय से खराब थी। जानकारी पर घर पहुंचा और उसको एक थप्पड़ मारते हुए डाट दिया। उसके बाद उसके न मानने पर पकड़ कर घर से बाहर निकाल दिया। साथ ही घर में ताला लगा दिया था।
घर में मारपीट में हुई, सीढ़ियों से घसीट कर निकाला गया
हुसैनगंज इंस्पेक्टर रामकुमार गुप्ता ने बताया कि हिमांशु के घर में विवाद करने के बाद परिजनों से मारपीट हुई थी। उसकी गर्दन में चूड़ी की चोट भी है, जिसे उसकी भाभी के साथ हाथापाई के दौरान लगना बताया जा रहा है।
परिजनों ने भी बताया कि उसके मारपीट करने पर सीढ़ी से घसीटकर नीचे लाया गया था। हिमांशु की मौत के कारणों का पता लगाने के लिए रात में ही पोस्टमार्टम करा रहे हैं। पोस्टमार्टम रिपोर्ट के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।
विधायक निवास क्यों गया, बना बड़ा सवाल
पुलिस की जांच में अभी तक सामने आया है कि हिमांशु विधायक निवास में इंट्री गेट से न जाकर पीछे एक नंबर गेट को फांद कर गया। सीसीटीवी फुटेज यह साफ दिख रहा है कि सोमवार रात 10:43 गेट फांदकर बिल्डिंग परिसर में घुसा था।
गेट में कटीले तार लगने होने के बाद भी उससे कूद कर अंदर जाना एक बड़ा सवाल है। क्योंकि ऐसा क्या था कि वह इंट्री वाले गेट से न जाकर उधर से गया। वहीं पुलिस का कहना है कि उसके शरीर पर चोट के निशान कटीले तार और गेट पर लगे लोहे के एंगल के हैं। अभी तक पुलिस उसके इस तरह विधायक निवास में पहुंचने का कारण खोज नहीं पाई है।
न्यूरो की थी दिक्कत, घर में अक्सर करता था विवाद
पिता का कहना है कि बेटे को न्यूरो की दिक्कत थी। उसका ऑपरेशन भी हो चुका है। दो साल से लगातार इलाज चल रहा है। मिर्गी के दौरे पर दौरे भी पड़ते थे। बीमारी के चलते चिड़चिड़ा हो गया। जिससे घर में आए दिन विवाद करता था। दो तीन बार विवाद के बाद घर से गया, लेकिन हर बार लौट आया।
घर में मारपीट या गेट फांदते वक्त की चोट बनी मौत की वजह!
पुलिस हत्या, आत्महत्या और हादसा के बिंदु पर जांच कर रही है। हिमांशु के शरीर पर चोट के निशान गेट के एंगल और कटीले तार के हैं या घर में मारपीट के चलते आए। पुलिस को आशंका है कि इन चोटों और बीमारी उसकी मौत की वजह तो नहीं बनी। इसके साथ ही इस बिंदु को भी लेकर जांच कर रही है कि उसने घर में हुई मारपीट के बाद जहरीला पदार्थ खा या खिला तो नहीं दिया गया। जिसकी वजह से उसकी मौत हो गई।
विधायक निवास में रहते हैं 12 माननीय, सुरक्षा पर सवाल
विधायक निवास में मौजूदा समय में 12 माननीय (11 विधायक व राज्यमंत्री) रहते हैं। जिसमें गाजीपुर के विधायक जैकिशन साहु, बांदा बबेरू के विधायक विशंभर सिंह यादव, शाहजहांपुर ददरौल के मानवेंद्र सिंह, रायबरेली हरचंदपुर के राहुल राजपूत, आगरा खैरागढ़ के भगवान सिंह, शाहजहांपुर तिलहर के विधायक सलोना कुशवाहा, रामपुर चमरव्वा के नसीर अहमद खां, बरेली बहेड़ी के अताउर्रहमान, उन्नाव मोहान के ब्रजेश कुमार रायबरेली बछरावा के श्याम सुंदर, बिजनौर नहटौर के ओम कुमार और आगरा दक्षिण के राज्य मंत्री योगेंद्र उपाध्याय।
इसके साथ ही श्रम कल्याण परिषद के अध्यक्ष (राज्यमंत्री) सुनील भराला और एकलव्य समाज पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष चंद्रशेखर निषाद भी रहते हैं। यहां रहने वालों का कहना है कि गेट पर इंट्री न होने और गार्ड की व्यवस्था न होने से बाहरी लोगों का आना जाना लगा रहता है। जिससे यहां का माहौल खराब होता है। पुलिस भी कोई हादसा होने पर कुछ दिन सक्रिय रहती है उसके बाद शांत हो जाती है।